Tuesday, 16 September 2008

कंप्यूटर गजल.

कंप्यूटर गजल.


कल जब मिले थे .................
तो दिल मे हुवा एक साऊंड
और आज मिले है तो कहते है

यौर फाइल नोट फाउन्ड.


जो मुदत से होता आया है


ओः रीपीट कर दूँगा.
तू न मिले तो अपनी


जिंदगी clt+alt+delect कर दूँगा.


शयद मेरे प्यार को

टेस्ट करना भूल गए.
दिल से ऐसा कट किया

की पेस्ट करना भूल गए.


लाखो होंगे निगाहों मे.
कभी मुझे भी पिक करो.
मेरे प्यार के आय्कौन पे
कभी तो डबल क्लिक करो.


रोज सुबहे करते है हम
प्यार से उनको गुड मोर्निंग .
ओः ऐसे घुर के देखते है.
जैसे ओ एरर और ०५ वार्निंग ..


ऐसा भी नही है की
आए डोंट लाइक यौर फेश .
पर दिल के स्टोरेज मे
नो मोर डिस्क स्पेश.


घर से जब तुम निकले
पहिन के रेशमी गावुन
जाने कितने दिलो का हो गया
सर्वर सट डाउन.